आंवला (Indian Gooseberry) विटामिन सी (C) से भरपूर है और यह शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है | आंवले का रस या स्वरस पके हुए रसदार आंवले में से निकाला जाता है और आंवले का चूर्ण आंवले को सुखाकर बनाया जाता है | यह एक रसायन है जो शरीर का कायाकल्प कर देता है | आंवला हमारे शरीर को टोन करता है | यह वात पित्त कफ को संतुलित रखता है और इससे होने वाले रोगों में लाभदायक है यह शरीर को ताकत देता है और शीतलता प्रदान करता है|
आंवला (Indian Gooseberry) केे सेवन से दिमाग आंख बाल पाचन और फेफड़ों आदि सभी पर अच्छा प्रभाव होता है | यह बुढ़ापे को रोकता है तथा शरीर के सभी अंगों को ताकत देता है इसे याददाश्त अच्छी होती हैं और बार बार भूलने की बीमारी ठीक हो जाती है | यह पाचन तंत्र को अच्छा बनाता है | आंतों की सफाई करता है | यह रचक है जैसे कब्ज पाइल्स आदि रोगों में इसका प्रयोग होता है| आंवला (Indian Gooseberry) रक्त स्त्राव विकारों के उपचार में भी उपयोगी है |आंवला शरीर में कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करता है और शरीर के दूषित पदार्थों को बाहर निकालता है |
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आंवले के विभिन्न भाषाओं में नाम (Name of Indian Gooseberry (Amla) in different different languages)
- Assamese: Amlaku, Amlakhi, Amlakhu
- Bengali: Amla, Dhatri
- English: Emblic Myrobalan
- Gujrati: Ambala, Amala
- Hindi: Amla, Aonla
- Kannada: Nellikayi
- Kashmiri: Embali, Amli
- Malayalam: Nellikka
- Marathi: Anvala, Avalkathi
- Oriya: Anala, Ainla
- Punjabi: Aula, Amla
- Tamil: Nellikkai, Nelli
- Telugu: Usirika, Asarikaya, Usirikaya
- Urdu: Amla, Amlaj
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आंवला के आयुर्वेदिक गुण और कर्म
- रस : मधुर, अम्ल, कटु, कषाय
- गुण : लघु, रुक्ष
- वीर्य :ठंडा
- विपाक : मधुर
- कर्म: दीपन, हृदय, मेध्य, त्रिदोष हर, रसायन
आंवला के फायदे (Benefits of Amla Fruit)
- यह एक शक्तिवर्धक टॉनिक है|
- शरीर में कोलेस्ट्रॉल को कम करता है|
- यह एक रसायन है और बुढ़ापे को रोकता है यानि कि बुढ़ापा देरी से आता है|
- यह पाचन को ठीक कर भूख बढ़ाता है|
- यह कब्ज को तोड़ता है और पेट को साफ रखता है|
- यह अमल्पित रोगों में लाभदायक है|
- यह शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है और विटामिन सी का एक अच्छा और प्राकृतिक स्त्रोत है|
- विटामिन सी होने के कारण यह खांसी जुकाम और बुखार में लाभदायक है|
- यह रक्त को साफ करता है|
- प्रचुर मात्रा में विटामिन सी होने के कारण यह त्वचा बाल आंखों और याददाश्त यानी के दिमाग के रोगों में लाभदायक है|
- आंवला (Indian Gooseberry) में प्रचुर मात्रा में विटामिन सी होने के कारण यह शरीर में आयरन यानी लोह को अवशोषित करने में मदद करता है जिससे खून शरीर में बढ़ता है और नया खून बनाने में मदद करता है|
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आंवला का प्रयोग किन किन रोगों में होता है हम आपको यह बताने जा रहे हैं |
- जैसा की हमने आपको बताया आंवला (Indian Gooseberry) में प्रचुर मात्रा में विटामिन सी होता है इसलिए यह विटामिन सी की कमी को पूरा करने के लिए चिकित्सा में प्रयोग किया जाता है |
- आंवला ठंडा होता है इसलिए यह गर्मी के रोगों में जैसे कि शरीर में जलन होना, शरीर की बढ़ी हुई गर्मी को शांत करने के लिए प्रयोग होता है
- आंवला का प्रयोग पित्त विकार, पाचन विकार, अम्लपित्त, पेट मे गैस, प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए, कब्ज ,पाइल्स, खून की कमी, उच्च कोलेस्ट्रॉल को कम करना ,आंखों की समस्याएं जैसे दृष्टि की कमजोरी मोतियाबिंद, मसूड़ों के रोग, सफेद पानी, स्वपनदोष और मोटापा जैसी बीमारियों के लिए आंवला का प्रयोग किया जाता है|
- यह पाचन तंत्र के लिए अच्छा है|
- यह बालों को झड़ने से रोकता है और उन्हें काला रखने में सहायता करता है|
- पेप्टिक अल्सर में लाभदायक है|
आंवला चिकित्सीय उपयोग (medicinal uses of amla)
- रक्ताल्पता
- दमा
- अल्सर, अम्लता, गेस्ट्राइटिस, हेपेटाइटिस, रक्तस्राव में फायदेमंद
- खून बह रहा विकार / रक्तापेटा, रक्त स्राव मसूड़ों से
- शरीर में सनसनी जलन गर्मी
- मोतियाबिंद
- सर्दी खांसी
- मधुमेह
- आँखों के रोग
- आंखों की कमजोरी
- सामान्य कमजोरी, थकान
- सूजन और रक्तस्राव की स्थिति
- कम रोग प्रतिरक्षा
- मधुमेह
- प्रमेहा (मूत्र विकार)
- समयपूर्व बाल सफेद हो जाना, बाल गिरना
- श्वसन रोग
- वात व्याधि, जोड़ों में दर्द
- विटामिन सी की कमी, रोग प्रतिरक्षा
- दुर्बलता
आंवला नुकसान (Amla ke side effect in Hindi)
आंवला के कोई दुष्प्रभाव नहीं है यह प्राचीन काल से भोजन और दवा के रूप में प्रयोग किया जाता है।
आंवला सेवन विधि और मात्रा (amla kaise khana chahiye)
आंवला का प्रयोग पानी, दूध, शहद या रोग अनुसार अनुपान के साथ किया जा सकता है 1/4 से 3 चम्मच दिन में तीन बार प्रयोग किए जा सकते हैं|
आंवला का प्रयोग डॉक्टर की देखरेख में या उनके निर्देशन अनुसार करना चाहिए|
आंवला का रस 20 ML तक लिया जा सकता है और इसको आप सुबह और शाम ले सकते हैं|
आंवला का रस उसमें बराबर पानी मिलाकर सेवन करना चाहिए|