बहुत सारे लोग एमआरआई का नाम सुनते ही घबरा जाते हैं, जबकि यह पूरी तरह दर्द रहित प्रक्रिया है, जो आपके डॉक्टर को उपचार में मदद करती है।
एमआरआई (MRI) का पूरा नाम मैग्नेटिक रिजोंनेस इमेजिंग है। यह एक तरह की स्कैनिंग मशीन है। इसमें बहुत ही शक्तिशाली और नियंत्रित विद्युत क्षेत्र, रेडियो तरंगें और कंप्यूटर टेक्नोलॉजी शामिल होती है। इसकी मदद से मानव शरीर के अंदर की विस्तृत तस्वीरें निकाली जाती हैं। यह एक डॉक्टरी इमेजिंग होती है। विस्तृत स्कैन करने के लिए चुंबकीय क्षेत्र और कंप्यूटर से तरंगों को पैदा किया जाता है। इससे आपके शरीर के ऊतकों या अंगो की तस्वीरें ली जाती हैं। MRI में एक्स-रे रेडियेशन का उपयोग नहीं किया जाता है। एमआरआई तकनीक अक्सर बीमारी का पता लगाने, डायग्नोसिस करने, ट्रीटमेंट की निगरानी करने के लिए प्रयोग में लाई जाती है। अधिकांश एमआरआई (MRI) मशीनें बड़ी, ट्यूब के आकार की मैगनेट होती है।
जानिए डॉक्टर क्यों देते हैं एमआरआई की सलाह | Know why doctors recommend MRI
डॉक्टर एमआरआई की सलाह देते हैं क्योंकि यह टेस्ट बिना किसी रेडिएशन या साइड इफेक्ट के तस्वीर प्रदान करता है। इसका उपयोग निम्नलिखित बीमारियों के डायग्नोसिस में किया जाता है:
- जोड़ों और हड्डियों से संबंधित बीमारियों का पता लगाने के लिए।
- हृदय संबंधी बीमारियों की पहचान करने के लिए।
- ब्रेस्ट कैंसर के खतरे का मूल्यांकन करने के लिए।
- रीढ़ की हड्डी और मस्तिष्क संबंधी समस्याओं का पता लगाने के लिए।
- गर्भाशय और लिवर कैंसर के डायग्नोसिस के लिए।
- इनफर्टिलिटी का इलाज करवा रही महिलाओं में गर्भाशय की असामान्यताओं का पता लगाने के लिए।
- महिलाओं में पैल्विक दर्द के कारणों का मूल्यांकन करने के लिए, जिसमें एंडोमेट्रियोसिस और फाइब्रोएड्रोमा शामिल होता है।
- शरीर के विभिन्न भागों में अल्सर, ट्यूमर या अन्य बीमारियों का डायग्नोसिस करने के लिए।
एमआरआई कैसे किया जाता है? | How is MRI done?
एमआरआई प्रक्रिया को शुरू करने से पहले आपको अस्पताल का गाउन पहनकर सभी धातुओं को निकालना होगा। फिर आपको एक रिट्रैक्टेबल टेबल पर सीधे लेट जाना होगा। इसके बाद, यह टेबल एक गुंबद के आकार वाले स्कैनर में जायेगा। स्कैनर के अंदर जाने पर, आपका सिर या पैर पहले स्कैन होगा। एमआरआई मशीन के अंदर लेटने पर, चुंबकीय क्षेत्र अस्थायी रूप से आपके शरीर में पानी के अणुओं को पुन: व्यवस्थित करेगा। रेडियो तरंगें इन पुनर्व्यवस्थित किए गए अणुओं से संकेतों का उत्पादन करेंगी। ये संकेत क्रॉस-सेक्शनल एमआरआई चित्रों को तैयार करने के लिए प्रयोग किए जाते हैं। इन चित्रों को रोटी के ऊपर रोटी रखने की तरह बनाया जाता है।
एमआरआई स्कैन के दौरान आवाजें क्यों आती हैं? | Why are there sounds during MRI scan?
एमआरआई स्कैन की प्रक्रिया में स्थिरता महत्वपूर्ण है ताकि सटीक और गहन चित्र प्राप्त किये जा सकें। कई बार स्कैन के दौरान आवाजें सुनाई देती हैं, जैसे कि थपथपाहट या फटफटाहट, जो कि विद्युत प्रवाह के चालू और बंद होने के समय होती हैं। ये आवाजें किसी चिंता का कारण नहीं होतीं। स्कैन की पूरी प्रक्रिया में आमतौर पर 15 से 60 मिनट का समय लग सकता है, आधारित शरीर के अंगों की संख्या पर। एमआरआई स्कैन के बाद, चित्रों की जांच एक अनुभवी रेडियोलॉजिस्ट द्वारा की जाती है और मरीज को समस्याओं की सूचना दी जाती है। अगर कोई बीमारी पाई जाती है, तो उसकी रिपोर्ट तैयार की जाती है। एमआरआई स्कैन किसी व्यक्ति के अंदर पेसमेकर, गोलियां/छर्रे या इम्प्लांट्स होने के कारण नहीं किया जा सकता।
रिजल्ट और रिपोर्ट तैयार करने में कितना समय लगता है? | How much time does it take to prepare results and reports?
एमआरआई स्कैन टेस्ट के पश्चात, चित्रों को एक हार्ड कॉपी और एक सीडी में ट्रांसफर किया जाता है। फिर, रेडियोलॉजिस्ट एमआरआई चित्रों के बारे में एक रिपोर्ट तैयार करते हैं। एमआरआई स्कैन प्रक्रिया 15 से 90 मिनट तक चलती है। रिपोर्ट बनाने की प्रक्रिया अधिकतर मामलों में 6 से 24 घंटों के भीतर पूरी हो जाती है।
एमआरआई स्कैन के क्या फायदे हैं? | What are the benefits of MRI scan?
एमआरआई (MRI) स्कैन एक बेहद फायदेमंद नॉन-इनवेसिव तकनीक है जिसमें कोई दर्द या रेडिएशन का खतरा नहीं होता है। यह तकनीक मस्तिष्क, रीढ़, जोड़ों, हृदय, लीवर जैसे शरीर के कोमल-ऊतकों को बेहतरीन तरीके से पहचानने में मदद करती है। एमआरआई स्कैन से कैंसर, हृदय की बीमारियाँ, मांसपेशियों और हड्डियों की बीमारियाँ और अन्य विभिन्न रोगों का डायग्नोसिस किया जा सकता है।
एमआरआई दो प्रकार की हो सकती है | MRI can be of two types
एमआरआई को दो तरह से किया जा सकता है। 3T MRI में चुंबकीय क्षेत्र की ताकत 1.5T से दोगुनी होती है, जिसके कारण यह अत्यंत स्पष्ट और गहरी छवियाँ प्रदान करता है। 3T MRI मस्तिष्क, वैस्कुलर, मस्कुलोस्केलेटल और छोटी हड्डियों की इमेजिंग के लिए उपयुक्त होता है। जब रोगियों की संख्या अधिक होती है, तो उनका एमआरआई जल्दी-जल्दी करना आवश्यक हो जाता है। बड़ी संख्या में रोगियों की इमेजिंग की सुविधा के लिए थोड़ा समय का स्कैन फायदेमंद हो सकता है।